लेखनी प्रतियोगिता -12-Dec-2022 चहकती चिडि़या
च चिडि़या
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मान्या शादी होकर ससुराल आई । सभी लोग बहुत खुव थे मान्या की आज सुहागरात थी। वह अपने कमरे में घूँघट करके बैठी थी। मनन रात को दस बजे आया। उसने आकर मान्या से कोई बात भी नहीं की।
जब मान्या ने जब बात करने की कोशिश की परन्तु वह उससे बात करना तो दूर वह सोफा पर जाकर बैठ गया। और कुछ देर बाद बोला," मै इस काबिल नहीं हूँ अतः मुझसे इस बारे में बात भी मत करना। इतना कहकर वह कमरे से बाहर आगया।
यह सुनकर मान्या को धक्का लगा। वह पूरी रात रोती रही। सुबह वह जल्दी ही उठ गयी । और उसने सोचा कि अपनी सास से बात करें लेकिन वह कुछ नही बोली।
जिस मान्या को कालेज के लड़के व लड़किया कोयल कहते थे आज वह बोलती चिडि़या चुप होगयी थी।
उसकी सास भी कुछ नहीं बोली मान्या ने सोचा शायद उनको इस बात की जानकारी नहीं होगी। परन्तु वह सोचने लगी कि इन अमीर लोगों ने हम गरीब लोगों से रीश्ता इस कमी के होते ही तो नहीं जोडाहै।
मान्या के दिल में अनेक तरह के बिचार आरहे थे इसी तरह दस दिन गुजर गये। कुछ दिन तक तो मनन आया आज आया भीनही । मान्या को अब आदत बन गयी थी वह चुप चाप सोगयी उसने अपने कमरे की कुन्दी नहीं लगाई थी।
रात के दो बजे उसे महसूस हुआ कि उसके साथ कोई सोरहा है और वह उसके बदन को सहला रहा है। जब उसने लाईट जलाई तो देखा यह तो मनन के पापा थे
मान्या चिल्कार बोली," आप यहाँ क्या कर रहे हो आफको ऐसा करते शर्म नही आई निकलो यहाँ से नही तो मै शोर मचादूँगी।"
वह बोले," बहू शोर मचाने का क्या फायदा यह सबको मालूम है तू भी जानती है कि तेरी शादी हमने केवल इस घर का वारिस लाने के लिए की है । तेरी जैसी पाचसौ लड़की खरीदने की ताकत रखते है हम।"
"" यहाँ से सीधी तरह जाते हो अथवा पुलिस को फौन करूँ।" मान्या बोली।
मान्या का ससुर इतनी सुनकर चुपचाप गेट खोलकर जाने लगा तो देखा बाहर उसकी सास व मनन भी खडा़ है।
इस तरह दो तीन दिन बीतगये अब तक वह अपनी इज्जत बचाये हुई थी अब उसकी समझ में सब आगया था इसलिए उसने आपने पापा को बुलाया और अपने मायके बापिस आगयी। उसके पापा ने उनको खूब गरी खोटी सुनाई और बोले," जब आपको बिरिस चाहिए तो किसी आनाथालय से गोद ले इते मेरी बेटी की जिन्दगी क्यौ खराब की है।"
कुछ दिन बाद उनका तलाक होगया।
इस तरह इस अमीर समाज के ठेकेदारौ ने एक चहकती कूकती चिडि़या का बोलना बन्द कर दिया। मान्या अपने साथ फढ़ने वालेदेव से प्यार करती थी लेकिन पापा की इज्जत के लिए यह रिश्ता कबूल किया था।
अब उसके पापाने जब उसकी दुबारा शादी की बात चलाई तब उसने मना कर दिया लेकिन जब वह उसके सामने देव को लेकर आये तब वह बोली." मै अब तुम्हारे काबिल नहीं हूँ मुझे माँफ करना मैने तुम्है धोका दिया है।"
देव बोला " नही मान्या तुम आज भी मेरे लिए पवित्र हो मुझे विश्वास है। तुम चुप अच्छी नहीं लगती हो यह आँसू पौछो और पहले की तरह चहकना शुरू करदो। कोयल कूकती ही अच्छी लगती है।
इस तरह मान्या देव को पाकर फिर से खुश होगयी।
आज की दैनिक प्रतियोगिता हेतु रचना
नरेश शर्मा " पचौरी "
Gunjan Kamal
17-Dec-2022 09:22 PM
शानदार
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Punam verma
13-Dec-2022 08:48 AM
Very nice
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Abhinav ji
13-Dec-2022 07:50 AM
Very nice👍
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